अयुर्वेद मे गिलोय को अमृत के समान माना गया है ! इसलिये इसे अमृता भी कहा जाता है ! गिलोय एक दिव्य औषधि है !इसकी पत्तियों में कैल्शियम, प्रोटीन, फास्फोरस और तने में स्टार्च पाया जाता है। यह वात, कफ और पित्तनाशक होती है।गिलोय शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाती है। साथ ही इसमें एंटीबायोटिक और एंटीवायरल तत्व भी होते है।
गिलोय लगभग पान के पत्ते की तरह होती है | यह लता के रूप में उगती है बढती है | गिलोय के पत्ते पतले, हरे और heart shape के होते हैं |
एसा कहा जाता है जब समुद्र मंथन हुआ तो उससे से अनेक चिजे निकली, जिसमे से की अमृत बहुत ही मूल्यवान थी जो की देवताओं को प्राप्त हुई | परन्तु दानवों ने छल से अमृत प्राप्त कर भागने लगे |भागने के क्रम में जहाँ जहाँ अमृत की बुँदे पृथ्वी पर गिरी, वहां
वहां गिलोय पौधे के रूप में प्रकट हुआ, इसलिए इसे
अमृत वल्ली भी बोला जाता है |
गिलोय को कई नामो से जाना जाता है
@ गुडूची (Guduchi)
@ अमृत वल्ली (Amrit Walli)
@ मधुपर्णी (Madhuparni)
@ इसे मराठी (marathi) में गलो भी बोलते हैं
गिलोय के फायदे / Benefits of Giloy
@ खून की कमी दूर करता है -
गिलोय शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है और शरीर में खून की कमी को दूर करता है। इसके लिए प्रतिदिन सुबह-शाम गिलोय का रस घी या शहद मिलाकर सेवन करने से शरीर में खून की कमी दूर होती है।
@ Purify Blood ( खुन साफ़ करना) –
अगर आप केवल Giloy के लता को ही
ले कर, उसे पिस कर सुबह सुबह खली पेट पानी के साथ पिते है तो आपके शरीर में खून काफी साफ़ रहेगा ! इसके अलावे आपको कभी भी रक्त संबंधी कभी कोई
परेशानी नहीं आएगी |
@ पीलिया में फायदेमंद-
गिलोय का सेवन पीलिया रोग में भी बहुत फायदेमंद होता है। इसके लिए गिलोय का एक चम्मच चूर्ण, काली मिर्च अथवा त्रिफला का एक चम्मच चूर्ण शहद में मिलाकर चाटने से
पीलिया रोग में लाभ होता है। या गिलोय के पत्तों को पीसकर उसका रस निकाल लें। एक चम्मच रस को एक गिलास मट्ठे में मिलाकर सुबह-सुबह पीने से पीलिया ठीक हो जाता है!
अगर आपको बार बार पीलिया रोग
हो रहा हो तो गिलोय के 4-5 पत्ते और 5 inch के
मध्यम आकार के लता को ले कर उसका juice
निकाल हर हर एक दिन छोड़ कर पुरे 10 दिन तक पिलाना चाहिये | आप चाहे तो थोड़ी से मिसरी मिला कर पिला सकते हैं | ऐसा करने से ना केवल पिलिया से छुटकारा मिलेगा बल्कि यह दोबारा होने के chances भी नहीं रहेंगे |
@ Remove Toxins –
इसके regular सेवन करने से हमारे
शरीर में मौजूद toxins बाहर आ जायेंगे और आप कम बीमार पड़ेंगे | यकीन मानिये जो लोग गिलोय का सप्ताह में एक बार भी सेवन करते है वो शायद ही कभी साल में एक बार बीमार पड़ते हैं |
@ जलन दूर करें-
अगर आपके पैरों में जलन होती है और बहुत उपाय करने के बाद भी
आपको कोई फायदा नहीं हो रहा है तो आप गिलोय का इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके लिए गिलोय के रस को नीम के पत्ते
एवं आंवला के साथ मिलाकर काढ़ा बना लें। प्रतिदिन 2 से 3 बार इस काढ़े का सेवन करें इससे हाथ पैरों और शरीर की जलन दूर
हो जाती है
@ दस्त –
अगर आपका पेट ख़राब हो जाये और बार बार bathroom जाना पड़े तो आप फ़ौरन सुबह सुबह गिलोय के लेट को पिस कर उसका juice बना कर पिया करें | ऐसा करने से जल्दी ही दस्त या loose motion से छुटकारा मिल जाता हैं |
@ पेट के रोगों में लाभकारी -
गिलोय के रस या गिलोय के रस में शहद मिलाकर सेवन करने से पेट से संबंधित सभी रोग ठीक हो जाते है। इसके साथ ही आप
गिलोय और शतावरी को साथ पीस कर एक गिलास पानी में मिलाकर पकाएं। जब उबाल कर काढ़ा आधा रह जाये तो इसकाढ़े को सुबह-शाम पीयें।
@ बुखार में फायदेमंद-
गिलोय एक रसायन है जो रक्तशोधक, ओजवर्धक, हृदयरोग नाशक,शोधनाशक और लीवर टोनिक भी है। गिलोय के रस में शहद
मिलाकर लेने से बार-बार होने वाला बुखार ठीक हो जाता है। या गिलोय के रस में पीपल का चूर्ण और शहद को मिलाकर लेने से तेज बुखार तथा खांसी ठीक हो जाती है।
@ मोटापा कम करें-
गिलोय मोटापा कम करने में भी मदद करता है। मोटापा कम करने के लिए गिलोय और त्रिफला चूर्ण को सुबह और शाम शहद
के साथ लें। या गिलोय, हरड़, बहेड़ा, और आंवला मिला कर काढ़ा बनाकर इसमें शिलाजीत मिलाकर पकाएं और सेवन करें।
इस का नियमित सेवन से मोटापा रुक जाता है।
@ कमजोरी –
अगर आपके शरीर में कमजोरी बार बार
लगती हो तो सप्ताह में 3 दिन गिलोय का सेवन करे और साथ में 1 चमम्च सहद को ले कर पिया करें | ऐसा करने से कमजोरी से छुटकारा मिलेगा और काम करने में ध्यान भी लगेगा |
@ आंखों के लिए फायदेमंद-
गिलोय का रस आंवले के रस के साथ मिलाकर लेना आंखों के रोगों के लिए लाभकारी होता है। इसके सेवन से आंखों के रोगों तो दूर होते ही है, साथ ही आंखों की रोशनी भी बढ़ती हैं। इसके लिए गिलोय के रस में त्रिफला को मिलाकर काढ़ा बना लें। इस काढ़े में पीपल का चूर्ण और शहद मिलकर सुबह-शाम सेवन करें।
@ शुगर (Diabetes )–
गिलोय के लता को 5 या 6 इंच काट
कर उसे कुच लें और इसे छान कर पानी के साथ सुबह सुबह पिया करें | आप एक महीने बाद अपना blood test करवा कर diabetes का limit चेक कर सकते हैं |
@ उल्टियां में फायदेमंद-
गर्मियों में कई लोगों को उल्टी की समस्या होती हैं। ऐसे लोगों के लिए भी गिलोय बहुत फायदेमंद होता है। इसके लिए
गिलोय के रस में मिश्री या शहद मिलाकर दिन में दो बार पीने से गर्मी के कारण से आ रही उल्टी रूक जाती है।
@ कान दर्द में लाभकारी-
गिलोय के पत्तों के रस को गुनगुना करके कान में डालने से कान का दर्द ठीक होता है। साथ ही गिलोय को पानी में घिसकर और गुनगुना करके दोनों कानों में दिन में 2 बार डालने से कान का मैल निकल जाता है।
@ झुरियां -
अगर आपके face पर wrinkles आ रहे है या झाइयाँ आ रही हो तो इसे पिस कर इसका paste बना ले और चेहरे पर 15 मिनट लगा कर सूखने के लिए छोड़ दें | और फिर ठंडे पानी से धो डालें | ऐसा करने से चेहरे पर पड़ने वाली झुरियां कम हो जायेंगी |
@ खुजली दूर भगाएं-
खुजली अक्सर रक्त विकार के कारण होती है। गिलोय के रस पीने से रक्त विकार दूर होकर खुजली से छुटकारा मिलता है। इसके लिए गिलोय के पत्तों को हल्दी के साथ पीसकर खुजली वाले स्थान पर लगाइए या सुबह-शाम गिलोय का रस शहद के साथ मिलाकर पीएं।
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